News :
10.70 ग्राम स्मैक के साथ एक नशा तस्कर गिरफ्तार राजधानी मे दारोगाओं के बम्पर तबादले दो चरणों मे होगा पंचायत चुनाव, 19 जुलाई को मतगणना, आचार संहिता लागू भराडीसैंण में भव्य अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस समारोह का हुआ आयोजन उत्तराखंड पुलिस की हेड कांस्टेबल के बेटे ने राष्ट्रीय मुएथाई चैंपियनशिप में जीता स्वर्ण, पुलिस परिवार हुआ गौरवांकित कुमाऊं जोन में पुलिस कर्मियों के बंपर तबादले बरसात के दृष्टिगत आपदा उपकरण सहित 24*7 तैयार रहने को कप्तान लोकेश्वर ने पुलिस टीम को दिए आदेश धूलकोट के पास कार की टक्कर में 1 की मौत अन्य 2 घायल अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के मुख्य कार्यक्रम में सहभागिता करने भराडीसैंण पहुँचे मुख्यमंत्री धामी मेटा की सूचना पर एसटीएफ़ व हरिद्वार पुलिस ने आत्महत्या करने जा रहे व्यक्ति की बचाई जान

आज से लागू हुए तीन नए कानून

  • Share
आज से लागू हुए तीन नए कानून

shikhrokiawaaz.com

07/01/2024


आज 1 जुलाई से पूरे देशभर में तीन नए कानून लागू हो गए हैं।इन कानूनों के लागू होने के बाद से भारत की न्याय प्रणाली  में एक बड़ा बदलाव होने जा रहा है।
अभी तक देश में भारतीय दंड संहिता, दंड प्रक्रिया संहिता और 1872 का भारतीय साक्ष्य अधिनियम सक्रिय चल रहा था, लेकिन अब उनकी जगह भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा सहायता, भारतीय साक्ष्य अधिनियम ने ले ली है।
नए कानून के लागू होते ही जीरो एफआईआर एसएमएस के माध्यम से इलेक्ट्रॉनिक तरीके से किसी को समन भेजना, पुलिस शिकायतों का ऑनलाइन पंजीकरण होना है।
देश मे जब भी जघन्य अपराध होता था तो अपराध स्थल पर वीडियो ग्राफी अनिवार्य नहीं थी। इसकी कोई बाध्यता नहीं रहती थी, लेकिन नए कानून लागू होने के बाद यह भी अनिवार्य होने जा रहा है।
नए कानून के लागू होने से कई बदलाव होंगे जैसे कि पहलेआपराधिक मामलों के जितने भी फैसला सुनाए जाते हैं, उनमें पहले सुनवाई के बाद फैसला देने में 60 दिन तक लग जाते थे,लेकिन अब यह अवधि 45 दिन की होने जा रही है।

वंही बलात्कार पीड़ितों का जब भी मेडिकल किया जाएगा,हर कीमत पर 7 दिनों के अंदर में रिपोर्ट आनी होगी।अगर नाबालिक के साथ बलात्कार होता है तो आजीवन कारावास या फिर मृत्यु दंड की सजा भी मिल सकती है।शादी के झूठे वादे कर महिला को छोड़ दिया जाएगा तो इसको लेकर भी दंड के सख्त प्रावधान कर दिए गए हैं।जो नए कानून लागू हुए हैं उसमें अब बच्चों को खरीदना या बेचना जघन्य अपराध माना जाएगा। 
महिला पीड़िता के बयान को यथासंभव महिला मजिस्ट्रेट द्वारा दर्ज किया जाना चाहिए। बलात्कार जैसे मामलों में ऑडियो-वीडियो माध्यम से बयान दर्ज होने चाहिए।
अगर गंभीर अपराध होंगे तो फॉरेंसिक एक्सपर्ट्स का घटनास्थल पर जाना जरूरी होगा,पहले जरूरत के मुताबिक यह फैसले लिए जाते थे।
नए क़ानून के आने से अब चाहे आरोपी हो या फिर पीड़ित, दोनों को 14 दिनों के अंदर में पुलिस रिपोर्ट, चार्जशीट मिलने का पूरा अधिकार रहने वाला है।
अब इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से ही किसी भी मामले में  एफआईआर दर्ज की जा सकेगी,पहले की तरह पीड़ित को पुलिस स्टेशन जाने की जरूरत नहीं रहेगी, अपने अधिकार क्षेत्र के बाहर भी अगर वो चाहे तो एफआईआर दर्ज करवा पाएगा।
आज से लागू हुए  इन  नए कानूनों के लागू होने के बाद 41अपराधों में सजा की अवधि को बढ़ा दिया गया है, व 82 अपराधों में जुर्माना ज्यादा कर दिया गया है। मॉब लिंचिग जैसी व दूसरी कुछ घटनाओं को लेकर भी नए अपराध बना दिए गए हैं, साथ ही नए कानून में कई धाराओं में भी बदलाव किया गया है जैसे कि अब बलात्कार की धारा 375 और 376 नहीं रहेगी,इसकी धारा 63 रहेगी और वही अगर सामूहिक बलात्कार का मामला होगा तो धारा 70 लगेगी। इसी तरह अब हत्या होने पर धारा 302 नहीं लगेगी उसकी जगह 101 धारा लगेगी है।
Comments
comment
date
latest news
1 किलो 424 ग्राम चरस के साथ एक तस्कर गिरफ्तार

1 किलो 424 ग्राम चरस के साथ एक तस्कर गिरफ्तार